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50 साल पहले इंडियन एयरफोर्स में हुई थी मिग-21 की एंट्री
नई दिल्ली : लड़ाकू जेट मिग-21 को आज भले ही उड़ता ताबूत कहा जाता हो, यह इंडियन एयरफोर्स के लिए करिश्माई योद्धा से बढ़कर रहा है. आज का दिन बेहद खास है. 50 साल पहले आज ही भारत में बना पहला मिग-21 एयरफोर्स में शामिल हुआ था. इससे पांच-छह साल पहले मिग-21 एयरफोर्स में आ गए थे, लेकिन वे रूस में बने थे.पिछले कुछ वर्षों में एयरफोर्स में क्रेशन और कैजुअल्टी में मिग-21 (Mikoyan-Gurevich) विमानों की हिस्सेदारी सबसे ज्यादा रही है. इसी वजह से इनका नाम खराब हुआ है. यहां तक कि पुलवामा अटैक के जवाब में भारत ने जब पाकिस्तान में जैश-ए-मोहम्मद के आतंकी बेस पर एयर स्ट्राइक की तो तनाव बढ़ गया था. विंग कमांडर अभिनंदन का फाइटर जेट क्रैश हुआ तो वह भी मिग-21 ही था.
हकीकत यह है कि रूस और चीन के बाद भारत मिग-21 का तीसरा सबसे बड़ा ऑपरेटर है. 1964 में इस विमान को पहले सुपरसोनिक फाइटर जेट के रूप में एयरफोर्स में शामिल किया गया था. शुरुआती जेट रूस में बने थे और फिर भारत ने इस विमान को असेम्बल करने का अधिकार और तकनीक भी हासिल कर ली थी.
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