गरीबों पर बढ़ा बिजली बिल का बोझ,स्मार्ट मीटर तकनीकी दिक्कतों का समाधान करे सरकार-गोपाल साहू

गरीबों पर बढ़ा बिजली बिल का बोझ,स्मार्ट मीटर तकनीकी दिक्कतों का समाधान करे सरकार-गोपाल साहू

गरीबों पर बढ़ा बिजली बिल का बोझ,स्मार्ट मीटर तकनीकी दिक्कतों का समाधान करे सरकार-गोपाल साहू

स्मार्ट मीटर में तकनीकी दिक्कत,  तत्काल समाधान करे सरकार-सूरज उपाध्याय

रायपुर, 21 जुलाई 2025। आम आदमी पार्टी के प्रदेश अध्यक्ष गोपाल साहू ने छत्तीसगढ़ सरकार द्वारा लगाया जा रहे हैं नए स्मार्ट मीटर की खामियों को बताते हुए कहा कि छत्तीसगढ़ में जो हर घर में स्मार्ट मीटर लगाए जा रहे हैं उसके दुष्परिणाम आने लगे हैं, स्मार्ट मीटर लगने के बाद जनता परेशान हो चुकी है जिन उपभोक्ताओं का बिल 300-400 रूपये आता था स्मार्ट मीटर लगाने के बाद उनका बिल 1000-1200 रूपये आ रहा है। साथ ही बिजली वोल्टेज की समस्या भी परेशानी दे रही है जिससे इलेक्ट्रॉनिक सामान खराब हो रहें हैं। दरअसल स्मार्ट मीटर भारत के के क्लाइमेट के हिसाब से नहीं बना है,स्मार्ट मीटर अभी तो समझ में नहीं आ रहा लोगों को जब टेंपरेचर बढ़ेगा गर्मी में तो मीटर और तेजी से घूमेगा और ज्यादा बिल आएगा स्मार्ट मीटर भारत के मौसम में फीट नहीं बैठता वह ठंडे प्रदेशों के लिए ठीक है।

प्रदेश महासचिव (मीडिया,सोशल मीडिया,मुख्य प्रवक्ता) सूरज उपाध्याय ने कहा कि एक ओर तो सरकार डिजिटल तकनीक सुविधाओं को बढ़ाने का दावा करती है, लेकिन स्मार्ट मीटर की कमियों ने सरकार की इन दावों की पोल खोल दी है हालात ग्रामीण क्षेत्रों में और भी ज्यादा खराब है जहां गरीबों को बिजली का भारी बिल थमा दिया जा रहा है। स्मार्ट मीटरों में खामियों को लेकर हाल में कई उपभोक्ताओं ने शिकायतें की हैं। स्मार्ट मीटर का उद्देश्य बिजली उपभोग की सटीक निगरानी, ऑटोमैटिक रीडिंग और रियल-टाइम डेटा उपलब्ध कराना है, लेकिन कई जगह तकनीकी और संचालन संबंधी खामियाँ सामने आई हैं।रियल-टाइम डेटा ट्रांसमिशन की त्रुटियों से खपत ज्यादा दिख सकती है। 

प्रदेश उपाध्यक्ष उत्तम जायसवाल ने कहा कि खराब नेटवर्क के कारण रीडिंग सर्वर तक सही से नहीं पहुँचती। इससे बिलिंग चक्र में गड़बड़ हो जाती है। मीटर सही ढंग से कैलिब्रेट न होने पर बिजली खपत अधिक या कम दिख सकती है। 

प्रदेश मीडिया प्रभारी मिहिर कुर्मी,प्रदेश उपाध्यक्ष नंदन सिंह ने कहा कि स्मार्ट मीटर IoT आधारित होते हैं, इसलिए हैकिंग और डेटा मैनिपुलेशन का खतरा रहता है। जिसकी ताज़ा घटना राजधानी रायपुर में घटी है जहां आधुनिक तकनीक से बिजली चोरी पकड़ी गयी है। हार्डवेयर खराब होने से मीटर रीडिंग बंद या गलत हो सकती है। बिजली कटने पर रीसेट संबंधी समस्याएँ आ सकती हैं। गलत बिलिंग को सुधारने की प्रक्रिया लंबी होती है, जिससे उपभोक्ताओं को परेशानी होती है। क्योंकि ग्रामीण इलाकों में नेटवर्क की समस्या रहती है जिसके कारण स्मार्ट मीटर की रीडिंग में फर्क पड़ता है।

रायपुर लोकसभा अध्यक्ष अज़ीम खान, महासचिव प्रदुमन शर्मा, संगठन मंत्री सागर क्षीरसागर,रायपुर शहर अध्यक्ष पुनारद निषाद, उपाध्यक्ष मिथलेश साहू ने कहा कि आम आदमी पार्टी का मानना है कि छत्तीसगढ़ जैसे ग्रामीण बहुल आंचल में स्मार्ट मीटर की सार्थकता उचित नहीं है इससे केवल आम लोगों को समस्या ही होगी इस कारण राज्य सरकार को स्मार्ट मीटर की तकनीकी समस्या का समाधान तत्काल करना चाहिए। अगर सरकार स्मार्ट मीटर की दिक्कतों का समाधान जल्दी नहीं करती है और जनता को अगर यूँ ही समस्यायों का सामना करना पड़ेगा तो हमारी पार्टी आम जनों को लेकर बड़ा आंदोलन करेगी