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छत्तीसगढ़ के निजी अस्पताल संचालकों को क्यों करना पड़ा धरना प्रदर्शन 31-Dec-2018
प्रदेश के सभी निजी नर्सिंग होम संचालक संचालनालय चिकित्सा शिक्षा - संचालनालय आयुष कार्यालय के सामने धरना प्रदर्शन कर रहे हैं यह पहली बार होगा कि निजी नर्सिंग होम संचालक अपनी मांगों को लेकर धरना प्रदर्शन कर रहे हो - इन करोड़पति नर्सिंग होम संचालकों का दुख दर्द यह है कि इन्होंने जो लोगों का उपचार किया है उसका भुगतान इन्हें नहीं मिला है - हम आपको बता दें कि छत्तीसगढ़ राज्य की भारतीय जनता पार्टी सरकार ने स्मार्ट कार्ड योजना के तहत ₹30000 तक का इलाज प्रत्येक परिवार को मुफ्त देने की योजना लागू की थी - जिसके तहत अधिकांश बड़े नर्सिंग होम संचालकों को इसकी जिम्मेदारी दी गई थी, या यूं कहें कि सरकार ने उन्हें अधिकृत किया था - इन निजी अस्पताल संचालकों ने शासन की इस योजना के तहत बीमार व्यक्तियों का इलाज किया परंतु जब भुगतान की बारी आई तो शासन अधिकारियों ने हाथ खड़े कर दिए और इन्हें टरकाने लगे, आखिर तंग आकर सभी निजी अस्पताल संचालक संचालनालय के बहार एकत्रित होकर धरना प्रदर्शन नारेबाजी कर अपने भुगतान की मांग कर रहे हैं परंतु अधिकारी हैं कि इन से मिलने को तैयार ही नहीं ऐसे में इन सभी निजी अस्पताल संचालकों ने शासन की योजनाओं के तहत इलाज करने से इंकार कर दिया है साथ ही यह भी फरमान जारी किया है कि यदि कोई अस्पताल संचालक एसोसिएशन के खिलाफ जाकर स्मार्ट कार्ड या आयुष्मान योजना के तहत इलाज करता है तो उसे इंडियन मेडिकल एसोसिएशन के विरोध का सामना करना पड़ेगा प्रदेश की पूर्व भारतीय जनता पार्टी सरकार के 15 सालों के विकास के दावों की पोल खोलने के लिए अस्पताल संचालकों का धरना प्रदर्शन काफी है - प्रदेश के नामी गिरामी अस्पताल संचालकों द्वारा यदि इस प्रकार शासन के नियमों का विरोध शुरू कर दिया गया तो प्रदेश में स्वास्थ्य सुविधा अस्त-व्यस्त हो जाएगी हो जाएगी - सीजी 24 न्यूज के लिए रेखा क्रिस्टोफर की रिपोर्ट


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