राज्य में भाजपा सरकार बनने के बाद बेटियां, बहने, माताएं सुरक्षित नहीं है

राज्य में भाजपा सरकार बनने के बाद बेटियां, बहने, माताएं सुरक्षित नहीं है

राज्य में भाजपा सरकार बनने के बाद बेटियां, बहनें, मातायें सुरक्षित नहीं है। लगातार दुराचार की घटनाये बढ़ रही है। अपराधी बेलगाम हो गये है उनमें कानून का भय नहीं है। सरकार अपने आप में मस्त है, मुख्यमंत्री और गृहमंत्री को कानून की चिंता नही है, रोज हत्याएं, लूट, बलात्कार हो रहे है।
सरकार महिलाओं को सुरक्षित वातावरण देने में नाकाम है।
सरकार और पुलिस से लोगों का भरोसा उठ गया है। इसी कारण दुर्ग में इस घटना के बाद संदिग्ध आरोपी के घर आगजनी की गयी। बलौदाबाजार में एसपी और कलेक्टर कार्यालय जला दिये गये। प्रशासन की नाकामी के चलते लोहारीडीह, बलरामपुर, सूरजपुर के बाद अब दुर्ग में जनता खुद ही न्याय करने सड़क पर उतर गई. जो बेहद चिंताजनक स्थिति है।
दुर्ग की यह घटना राज्य की बिगड़ती कानून व्यवस्था का उदारण है। जबसे राज्य में भाजपा की सरकार बनी है तब से महिलाये, बच्चियां असुरिक्षत है। घटना के बाद पुलिस का रवैय्या बेहद ही दुर्भाग्यजनक है। वास्तविक अपराधी को पकड़ने की बजाय पुलिस, मामले की लीपा-पोती में लगी है।
जिसे गिरफ्तार किया गया, अपराधी बताया जा रहा मृतका के परिजन उसे अपराधी मानने को तैयार नहीं है।
पुलिस ने घर की महिलाओं और बुजुर्गों के साथ बर्बरता की हदें पार कर दीं, वहीं पुरुष परिजनों पर झूठा अपराध कबूल करने का दबाव बनाया गया।
पुलिस घटना को लेकर आवाज उठाने वालों को प्रताड़ित करने में लगी है।
मृतक बच्ची के वृद्ध दादा को पुलिस ने अमानवीय तरीके से पीटे मृतका की हम उम्र बहन के साथ भी पुलिस ने मारपीट किया, इतनी बेरहमी से मारा गया कि उसके गाल के भीतरी हिस्से में घोटे आई।
पुलिस ने अपनी विफलता छुपाने के लिए शोक संतप्त परिजनों पर अत्याचार किया है।
परिवार को पुलिस की जांच पर भरोसा नहीं है। अतः परिजनों की मांग के अनुसार पूरे मामले की सीबीआई जांच कराई जाये।
दुर्ग के एसपी को तत्काल हटाया जाये और टीआई को सस्पेंड किया जाये। इस घटना की नैतिक जिम्मेदारी लेकर गृहमंत्री अपने पद से इस्तीफा दे। गृहमंत्री अपने पद से इस्तीफा नहीं देते है तो मुख्यमंत्री तत्काल गृहमंत्री को उनके पद से बर्खास्त करे।
इस घटना के विरोध में दुर्ग की अबोध निर्भया को न्याय दिलाने कांग्रेस न्याय पथ पर निकलने ज रही है। हम 18 से 21 अप्रैल को दुर्ग से रायपुर तक न्याय यात्रा निकालेंगे। 21 अप्रैल को मुख्यमंत्र निवास का घेराव किया जायेगा।